PM Modi: इस वर्ष प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने दिवाली का पर्व गोवा में भारतीय नौसेना के जांबाज़ों के साथ मनाकर एक बार फिर अपने विशेष अंदाज़ में देश की सुरक्षा बलों को सम्मान दिया। गोवा स्थित नेवल बेस पर प्रधानमंत्री ने जवानों को संबोधित करते हुए कहा कि आप सभी के बीच दिवाली मनाना मेरे लिए गर्व और सौभाग्य की बात है।
INS विक्रांत बना आत्मनिर्भर भारत का प्रतीक
PM Modi: पीएम मोदी ने आगे कहा कि एक ओर विशाल समंदर की लहरें हैं और दूसरी ओर आप वीर सिपाहियों की असीम शक्ति यही असली दिवाली का प्रकाश है। प्रधानमंत्री ने नौसेनिक जहाज INS विक्रांत पर जवानों के बीच बीती रात को अविस्मरणीय बताया और कहा कि जहाज तो लोहे के होते हैं, लेकिन जब उनमें देश के जांबाज़ सवार होते हैं, तो वे जीवंत हो उठते हैं।
प्रधानमंत्री मोदी ने INS विक्रांत को भारत की आत्मनिर्भर सैन्य ताकत का प्रतीक बताते हुए कहा कि INS विक्रांत सिर्फ एक युद्धपोत नहीं, बल्कि यह ‘मेड इन इंडिया की वह पहचान है, जिसने दुश्मन के हौसले पस्त कर दिए हैं। आज यह महासागर की लहरों को चीरते हुए भारत की शक्ति और स्वाभिमान का प्रतीक बन चुका है। पीएम मोदी ने अपने संबोधन में ये भी बताया अब औसतन हर 40 दिन में एक नया स्वदेशी युद्धपोत या पनडुब्बी भारतीय नौसेना में शामिल हो रही है, जो भारत के तेजी से बढ़ते रक्षा उत्पादन क्षेत्र का प्रमाण है।
People love celebrating Diwali with their families. And so do I, which is why every year I meet our army and security personnel who keep our nation safe. Happy to be among our brave naval personnel on the western seaboard off Goa and Karwar on Indian Naval Ships with INS Vikrant… pic.twitter.com/Pb41kQnMMR
— Narendra Modi (@narendramodi) October 20, 2025
पाकिस्तान को दिया स्पष्ट संदेश
PM Modi: प्रधानमंत्री ने अपने संबोधन में पाकिस्तान को सीधा संदेश देते हुए कहा कि हमारी तीनों सेनाओं के असाधारण समन्वय ने एक समय में पाकिस्तान को रिकॉर्ड समय में घुटने टेकने पर मजबूर कर दिया था। उन्होंने दोहराया कि जब खतरा सामने हो, तब जीत उन्हीं को मिलती है जो आत्मविश्वास और ताकत के साथ डटे रहते हैं। उन्होंने कहा कि INS विक्रांत ने अपने नाम से ही पाकिस्तान की नींद उड़ा दी थी। यह सिर्फ जहाज नहीं, बल्कि भारत की सैन्य ताकत का प्रत्यक्ष रूप है।
प्रधानमंत्री ने रक्षा क्षेत्र की प्रगति को रेखांकित करते हुए कहा कि बीते एक दशक में भारत का डिफेंस एक्सपोर्ट 30 गुना बढ़ा है। उन्होंने इस सफलता का श्रेय स्वदेशी रक्षा कंपनियों और स्टार्टअप्स को दिया। ब्रह्मोस और आकाश जैसी मिसाइलों की सफलता का उल्लेख करते हुए उन्होंने कहा कि इनकी मारक क्षमता ऑपरेशन सिंदूर के दौरान भी देखने को मिली है।







