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Gold Rate: सोने की चमक चरम पर 24 कैरेट सोना ₹1.19 लाख और चांदी ₹1.48 लाख तक पहुंची

Gold Rate

Gold Rate: देशभर में आज सोमवार, 6 अक्टूबर 2025 को सोना और चांदी दोनों के दाम एक बार फिर आसमान छूने के नए उच्च स्तर पर पहुंच गए। इंडिया बुलियन एंड ज्वेलर्स एसोसिएशन (IBJA) के अनुसार, 10 ग्राम 24 कैरेट सोने की कीमत ₹2,105 बढ़कर ₹1,19,059 हो गई। वहीं, चांदी की कीमत ₹2,940 बढ़कर ₹1,48,550 प्रति किलो पहुंच गई। इससे एक दिन पहले यानी रविवार को चांदी ₹1,45,610 प्रति किलो पर थी।

 

सोने के भाव में उछाल की ये 5 बड़ी वजहें आपको चौंका देंगी…

Gold Rate: 1. केंद्रीय बैंकों की बढ़ती खरीदारी: दुनियाभर के कई बड़े बैंक अब डॉलर पर निर्भरता कम कर रहे हैं। इसके चलते वे अपने खजाने में सोने का भंडार बढ़ा रहे हैं। जब बड़े बैंक लगातार खरीदारी करते हैं तो बाजार में मांग बढ़ती है और कीमतें ऊपर जाती हैं।

असर: लगातार खरीदारी से सोने की कीमतों में स्थायी बढ़ोतरी बनी रहती है।

2. अमेरिकी नीतियों की अनिश्चितता: अमेरिका की नीतिगत अस्थिरता और ‘ट्रंप फैक्टर’ के कारण निवेशक सुरक्षित विकल्प ढूंढ रहे हैं। डॉलर-बॉन्ड बाजार कमजोर हो रहा है, जिससे सोना निवेशकों के लिए ज्यादा भरोसेमंद विकल्प बन गया है।

असर: निवेशक जोखिम से बचने के लिए सोने में पैसा लगा रहे हैं, जिससे कीमतों में तेजी आ रही है।

3. क्रिप्टो और शेयर बाजार से रुख बदलना: क्रिप्टोकरेंसी में उतार-चढ़ाव और सख्त नियमों के कारण निवेशकों ने सोने को सुरक्षित निवेश मानना शुरू कर दिया है। शेयर बाजार से कम रिटर्न मिलने से भी सोने की ओर रुझान बढ़ा है।

असर: बढ़ती मांग के चलते सोने की कीमतें नई ऊंचाइयों पर पहुंच रही हैं।

4. डॉलर की कमजोरी (डी-डॉलराइजेशन): कई देश डॉलर के उपयोग को घटाकर अपनी आर्थिक नीति में बदलाव कर रहे हैं। इससे अमेरिकी डॉलर कमजोर हो रहा है और सोने की मांग तेज हो रही है।

असर: डॉलर कमजोर होने पर सोना महंगा होता है।

5. लंबे समय का भरोसेमंद निवेश: सोना एक सीमित संसाधन है, जो नष्ट नहीं होता। यह महंगाई के समय अपनी कीमत बनाए रखता है। इसलिए इसे लंबे समय के लिए सुरक्षित संपत्ति माना जाता है।

असर: दीर्घकाल में सोने में निवेश अधिक फायदेमंद साबित होता है।

 

1.55 लाख तक जा सकता है सोना

Gold Rate: गोल्डमैन सैक्स की हालिया रिपोर्ट के अनुसार, अगले साल तक सोने का दाम 5,000 डॉलर प्रति औंस (लगभग ₹1,55,000 प्रति 10 ग्राम) तक जा सकता है। वहीं, विशेषज्ञों का कहना है कि यह कीमत ₹1,44,000 से ₹1,50,000 प्रति 10 ग्राम के बीच रह सकती है।

केंद्रीय बैंकों की बढ़ती खरीदारी, डॉलर की कमजोरी और वैश्विक अस्थिरता के चलते सोना फिर निवेशकों की पहली पसंद बनता जा रहा है। विश्लेषकों का कहना है कि अगर यही रुझान जारी रहा तो आने वाले महीनों में सोना एक बार फिर नया रिकॉर्ड बना सकता है।

सोने की कीमतों में उछाल के पीछे क्या है वजह?

Gold Rate: दुनियाभर के बाजारों में तेज रुझान और दिवाली से पहले घरेलू स्तर पर बढ़ी मांग के कारण सोने के भाव लगातार ऊपर जा रहे हैं। अंतरराष्ट्रीय बाजार में सोमवार को पहली बार सोना 3900 डॉलर प्रति औंस के स्तर को पार कर गया। अमेरिका में संभावित “गवर्नमेंट शटडाउन” की आशंका ने निवेशकों को सुरक्षित निवेश की ओर मोड़ा है, जिससे सोने की मांग बढ़ी है। वहीं, अमेरिकी फेडरल रिजर्व द्वारा ब्याज दरों में कटौती की उम्मीदें भी सोने की कीमतों को मजबूत सहारा दे रही हैं।

नतीजा: अंतरराष्ट्रीय और घरेलू दोनों बाजारों में सोने की चमक और बढ़ गई है, और त्योहारी सीजन में इसके नए रिकॉर्ड बनने की पूरी संभावना है।

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